चलो तुम्हे लिख देता हूँ।

आज कुछ ख़याल नहीं आ रहे हैं , चलो तुम्हे लिख देता हूँ। तुम्हारी हँसी लिख देता हूँ , तुम्हारी ख़ुशी लिख देता हूँ। आज कुछ ख़याल नहीं आ रहे हैं , चलो तुम्हे लिख देता हूँ। तुम्हारी गुस्ताखियाँ लिख देता हूँ , तुम्हारी बदमाशियां लिख देता हूँ , प्यारी सी कहानी लिख देता हूँ , तुम्हारी वो नादानी लिख देता हूँ , चेहरे का नजराना लिख देता हूँ , जुल्फों का सवाँरना लिख देता हूँ। आज कुछ ख़याल नहीं आ रहे हैं , चलो तुम्हे लिख देता हूँ। तुझसे जुड़ा वो बंधन लिख देता हूँ , तेरे प्यार का पागलपन लिख देता हूँ। ©नीतिश तिवारी।