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Hindi Poem - Meri Zindgi ko.























सुनों,
नया साल शुरू
हो गया है।
अब फिर से तुम
मेरी ज़िंदगी को
उदासियों से लबरेज़
करके अपनी हसीन
दुनिया में खो जाओगी।
और सुकून मिलेगा
तुम्हें अकेलापन में
और मेरे हिस्से सिर्फ
दर्द आएगा
हमेशा की तरह।


©नीतिश तिवारी।

ये भी देखिए।



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6 Comments

  1. बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति :)
    बहुत दिनों बाद आना हुआ ब्लॉग पर प्रणाम स्वीकार करें

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    Replies
    1. ब्लॉग पर पधारने के लिए आपका धन्यवाद।

      Delete

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